Saturday, March 13, 2010

यादें

इस जीदंगी सें जब हम चले जायेगें
सच कहते हैं। आपको बड़ा याद आयेगें।
जब याद हमारी आये तो ना होना तुम उदास
वही कही रहेगें हम सदा आपके पास।
कभी फूल तो कभी बनके बहार
रहेगें हम सदा तूम्हारे साथ।
जब कभी हमसे तूम्हे करनी हो बात
तो करना बात तूम सदा हवा तो कभी सितारों के साथ।
जब कभी हमसे मिलने की हो आस
तो ना करना तूम अपने मन को निराश
चले आना रात को तूम चा¡द के पास
वहीं कहीं हम तुम्हे नजर आयेगें
एक झलक दिखाके बादलों में छुप जायेगें।

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सपनों की दुनिया¡

दुनिया¡ में हर ईन्सान के कुछ सपने होते है।
इस प्यार भरी दुनिया¡ में कुछ अपने होते है।
मगर फिर भी एसा लगता है।
जैसे हर महफिल में हम तन्हा होते है।
सपने सजोना हर र्इसांन को अच्छा लगता है,
सपनों को सच करना बड़ा प्यारा लगता है।
इन्ही सपनों में कई फूल खिलते है,
जुदा होकर भी लोग सपनों में मिलतें है।
सपनों की इस दुनिया¡ में उतरना किसे अच्छा नही लगता,
मगर हर सपना ना जाने क्यो सच्चा नही लगता।
सजोए हुए सपने जब टूट जाते है,
लगता है, जैसे चा¡द तारे रूठ जाते है।
सपने जब बिखर जाते है, तो
संग दिल के अरमान जल जाते है।
इस दुनिया¡ में रह जाता है, ये दिल,
तन्हा-तन्हा और सिर्फ तन्हा।

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